छात्रों को बरगलाकर आतंक के रास्ते पर ला रहा है आईएसआईएस
लखनऊ : सिमी के बैन होने के कई सालों बाद आईएसआईएस ने यूपी को फिर से टारगेट पर लिया है। आतंकी संगठन आईएसआईएस एक बार फिर से राज्य में अपनी गतिविधियों को ब़ढ़ा रहा है। वह अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के उन छात्रों को बरगलाकर आतंक के रास्ते पर ला रहा है, जो सिस्टम या सरकार से नाराज हैं। आईएसआईएस यूपी में ‘एस’ नाम से नया प्लान टारगेट किया है। ‘एस’ कोड को यह पहले भी कई आतंकी घटनाओं में स्टूडेंट इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) को शामिल कराता था।
मिली जानकारी के अनुसार, आईएसआईएस अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्रों को निशाने पर ले रहा है। बता दें कि पिछले दिनों यूनिवर्सिटी के छात्र संगठन एसएएमयू यानी स्टूडेंट ऑफ अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्रों को गिरफ्तार किया गया था। पूछताछ में खुलासा हुआ था कि सभी गिरफ्तार हुए स्टूडेंट आईएसआईएस से जुड़कर आतंकी घटनाएं करने की प्लानिंग करते हुए जिहाद की गतिविधियों को बढ़ावा दे रहे थे। गिरफ्त में आए आरोपी कई स्टूडेंट्स को इंटरनेट मीडिया के जरिए से जिहाद के लिए उकसाने का काम कर रहे थे।
अभी तक की जांच में खुलासा हुआ है कि आईएसआईएस का पुणे मॉड्यूल गाजियाबाद के डासना के शिव शक्ति धाम मंदिर के महंत यति नरसिंहानंद और कई हिंदूवादी नेताओं की हत्या की साजिश रच रहा था। इसका खुलासा अलीगढ़ से गिरफ्तार संदिग्ध आतंकी अब्दुल्ला अर्सलान और माज बिन तारीक से पूछताछ में हुआ है। दोनों को रिमांड पर अलीगढ़ लेकर गई एटीएस ने १ पिस्टल, ५ कारतूस और कुछ इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस बरामद किए हैं।
टारगेट ‘एस’ का मतलब उन स्टूडेंट को आईएसआईएस टारगेट कर रहा है, जो सिस्टम या सरकार से नाराजगी रखते हैं और आसानी से जिहाद के नाम पर आतंकी प्लान में शामिल हो जाते हैं। यूपी में सिमी का भी यही पैटर्न रहा है। इसके अलावा सिमी की तरह ही इस बार भी वही स्टूडेंट टारगेट पर हैं, जो किसी न किसी प्रोफेशनल कोर्स की पढ़ाई कर रहे थे। यूपी एटीएस स्टूडेंट ऑफ अलीगढ मुस्लिम यूनिवर्सिटी संगठन की जांच कर रही है। आतंक निरोधक दस्ता इसके कितने सदस्य हैं और कौन-कौन से लोग वजीहुद्दीन के संपर्क में थे, इसकी जांच कर रही है।