पाकिस्तान में चरमराई आर्थिक स्थिति… भारी कर्ज के दबाव वाले देशों की लिस्ट में हुआ शामिल

इस्लामाबाद : पाकिस्तान में हालात दिन पर दिन बिगड़ते जा रहे हैं। आर्थिक तंगी से जूझता पाकिस्तान भारी कर्ज के दबाव में धसता जा रहा है। अब तो हालात ऐसे हो गए हैं कि पाकिस्तान उन देशों की लिस्ट में शामिल हो गया है जो देश भारी कर्ज के दबाव में हैं। बिजनेस रिकॉर्ड की रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान वैश्विक स्तर पर उन 15 देशों की लिस्ट में शामिल है जो देश भारी कर्ज के बोझ के तले दबे हुए हैं।

आर्थिक और वित्तीय विश्लेषक अतीक उर रहमान ने कहा कि पाकिस्तान को जल्द से जल्द ऐसे हालात से निजात पाने की जरूरत है। रिपोर्ट में कहा गया है कि उच्च नीतिगत दरों के कारण सरकार को घरेलू उधारी लागत में वृद्धि का सामना करना पड़ रहा है जो 21 प्रतिशत पर नकारात्मक क्षेत्र में बनी हुई है। वहीं, विश्लेषक को डर था कि उधार लेने की लागत और भी बढ़ जाएगी।

आर्थिक और वित्तीय विश्लेषक अतीक उर रहमान ने उल्लेख किया कि वित्त वर्ष 2024 के लिए पाकिस्तान को बाहर से वित्तीय सहायता के लिए लगभग 40 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि पाकिस्तान को अभी 30 बिलियन अमरीकी डॉलर का ब्याज सहित भुगता करना है। इसलिए पाकिस्तान का करेंट अकाउंट घाटा हमेशा घट रहा है।

रहमान कहा कि जून 2023 से आगे पाकिस्तान को बाहरी वित्तीय सहायता मिलने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ा सकता है और स्थिति यह भी आ सकती है कि पाकिस्तान को वित्तीय सहायता भी नहीं मिल सकती है। बिजनेस रिकॉर्डर की रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान को कम आय वाले 45 प्रतिशत देशों में कर्ज के तनाव के उच्च जोखिम और बहुत अधिक ब्याज दरों पर उधार लेने वाले देश के बीच रखा जा सकता है।

अतीक उर रहमान ने कहा कि यह एक वास्तविक संकट है। ऐसा लगता है कि देश बिना किसी समाधान के वित्तीय कमी का सामना करना जारी रखता है। हमें अपने खर्चों में सभी स्तरों पर कटौती करने और लग्जरी चीजों पर पैसा न खर्च करने से बचना चाहिए।

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