पालघर : सर्वेक्षण कार्य में लगे कर्मचारियों के कोरोना संक्रमित होने का खतरा
पालघर : कोरोना की दूसरी लहर में मुंबई और आसपास के क्षेत्र में रोगियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। ऐसी हालत में शिक्षकों को घर-घर जाकर शालावाह्य विद्यार्थियों को ढ़ूंढ़ने का आदेश दिया गया है। जिले के विभिन्न हिस्सों में कार्यरत शिक्षक -कर्मचारी और शिक्षक नेताओं ने नाराजगी जताई है और कहा है कि सरकार जगह-जगह लॉकडाउन पर विचार कर रही है। साप्ताहिक बाजारों को बंद करने के साथ लोगों से बचने और भीड़ पर नियंत्रण रखने का आदेश दिया है। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए स्कूलों को बंद करने के बाद, 3 से 18 वर्ष की आयु के बच्चों का सर्वेक्षण करने का काम शिक्षकों और आंगनवाड़ी सेविकों को सौंपा गया है। इस अभियान को स्कूली छात्रों को शिक्षा की मुख्यधारा में लाने के लिए लागू किया जा रहा है। जिसके अंतर्गत बस्तियों, रेलवे स्थानकों, ईंट भट्टों, बड़े निर्माण क्षेत्रों, पाडा, सिग्नलों और विभिन्न आश्रयों में स्कूली बच्चों की खोज करने के आदेश जारी किए गए हैं। इसके लिए संबंधित अधिकारियों को आवश्यक जानकारी प्राप्त कर ए, बी, सी, डी परिपत्र भरने का आदेश जारी किया गया हैं जिसमें परिवार प्रमुख का नाम, गांव, पता, इत्यादि पंजीकृत किया जा रहा है। आदेश के अनुसार, शिक्षकों और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं ने घर-घर जाकर सर्वेक्षण कार्य शुरू कर दिया है जिनके कोरोना संक्रमित होने का खतरा बना हुआ है। वहीं सर्वेक्षण कार्य करने वाले अधिकांश कर्मचारियों का कहना है कि कोरोना काल में लोगों से अपेक्षित सहयोग नहीं मिल रहा है एवं लोगों के पलायन के कारण उपलब्ध जानकारी भी परिणाम कारी होगी इस पर भी संदेह है।